हिमाचल पथ परिवहन निगम को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में सरकार की पहल
मुख्यमंत्री ठाकुर सुखविंद्र सिंह सुक्खू ने हिमाचल पथ परिवहन निगम की बैठक की अध्यक्षता करते हुए प्रदेश सरकार की प्रतिबद्धता व्यक्त की कि निगम को आर्थिक घाटे से उबारने और आत्मनिर्भर बनाने के लिए हर संभव सहायता प्रदान की जाएगी। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि प्रदेश में परिवहन का मुख्य साधन होने के कारण बस सेवा सुविधाएं लोगों के लिए जीवन रेखा का कार्य करती हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि निगम को हरित परिवहन प्रणाली में परिवर्तित किया जा रहा है, जिसमें वर्तमान में 110 ई-बसें और 50 ई-टैक्सियां कार्यशील हैं। इसके अतिरिक्त, निगम की आर्थिक स्थिति सुधारने की दिशा में भी महत्वपूर्ण कदम उठाए जा रहे हैं।
मुख्यमंत्री ने बताया कि इलेक्ट्रिक बसों की खरीद के लिए 327 करोड़ रुपये प्रदान किए गए हैं और अतिरिक्त दो हजार टाइप-2 इलेक्ट्रिक बसों की खरीद प्रक्रिया भी चल रही है। इसके साथ ही, धार्मिक स्थानों में बेहतर परिवहन सुविधा के लिए भी प्रयासरत हैं, जिसमें अयोध्या के लिए छह बसों की सुविधा शामिल है।
उप-मुख्यमंत्री मुकेश अग्निहोत्री ने बताया कि प्रदेश के दुर्गम क्षेत्रों में निगम विश्वसनीय परिवहन सेवाएं उपलब्ध करवा रहा है। उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि गत सात माह से निगम के कर्मचारियों और पेंशनरों को समय पर वित्तीय अदायगी की जा रही है, जो पिछली सरकार के दौरान आठ से 10 दिनों के बाद होती थी।
इस बैठक में अधोसंरचना सलाहकार अनिल कपिल, प्रधान सचिव परिवहन आरडी नजीम, प्रधान सचिव वित्त देवेश कुमार, मुख्यमंत्री के सचिव राकेश कंवर, निगम के प्रबन्ध निदेशक रोहन चंद और अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।